Home बड़ी खबर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के हाथों सम्मानित रायगढ़ (छत्तीसगढ़) एवं उड़ीसा के मूर्तिकार आदिवासी परिवार दो वक्त की रोटी के लिए दर दर भटकने मजबूर। तेलंगाना के ईंट भट्ठे से इन बंधुआ मजदूरों को GSS/LSU ने छुड़वाया।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के हाथों सम्मानित रायगढ़ (छत्तीसगढ़) एवं उड़ीसा के मूर्तिकार आदिवासी परिवार दो वक्त की रोटी के लिए दर दर भटकने मजबूर। तेलंगाना के ईंट भट्ठे से इन बंधुआ मजदूरों को GSS/LSU ने छुड़वाया।

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प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के हाथों सम्मानित रायगढ़ (छत्तीसगढ़) एवं उड़ीसा के मूर्तिकार आदिवासी परिवार दो वक्त की रोटी के लिए दर दर भटकने मजबूर। तेलंगाना के ईंट भट्ठे से इन बंधुआ मजदूरों को GSS/LSU ने छुड़वाया।

।।खबर सिद्धार्थ न्यूज से नीलकांत खटकर।।

 

रायपुर/रायगढ़ 27 सितंबर 2023 । प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी व मुख्य मंत्री भूपेश बघेल के हाथों सम्मानित मूर्तिकार परिवार को दाने दाने को मोहताज होना पड़ रहा है और ये परिवार गरीबी की दंश झेल रहे हैं।जिसके हाथों की कलाकारी ने खूबसूरत खूबसूरत मूर्तियां बनाती है वहीं हाथ गरीबी के कारण ईंट भट्ठे में काम करने मजबूर होना पड़ रहा है।इस ओर सरकार का ध्यान नहीं, न प्रशासन से कोई मदद । ये आदिवासी परिवार अपने पेट के लिए दर दर भटकने मजबूर है।भले ही केंद्र व राज्य सरकार इनके लिए तमाम योजनाएं बनाई है लेकिन जब इन कलाकारों के पास यह योजना नहीं पहुंच पाती तो इनको मजदूरी करना विवश होना पड़ता है।इसकी जानकारी जब  GSS/LSU को हुई तो संघ के मित्र सोशल एक्टिविस्ट सुश्री रिनचीन द्वारा छत्तीसगढ़ व उड़ीसा के मजदूरों को जो तेलंगाना में ठेकेदार द्वारा विगत कई माह से बंधुआ होने की जानकारी मिली थी तब GSS/LSU के सदस्यों ने इन्हें छुड़ाने के लिए ठान ली।GSS/LSU प्रमुख लखन सुबोध का अन्यत्र दौरा में होने पर GSS/LSU के ऑफिस सचिव अजय कुमार अनंत ने पुरी जानकारी लेकर प्रकरण पर उचित कार्यवाही हेतु छत्तीसगढ़ एवं तेलंगाना की सरकार से त्वरित संपर्क कर आगे कार्यवाही कराई गई। इस प्रकरण पर GSS/LSU की मित्र एड. दिवेश कुमार एवं समबद्ध संस्था जन साहस के सहयोग से मजदूरों को बंधुआ मजदूरी से मुक्त कराकर उन्हें उनके गृह स्थान भेजा गया।

ज्ञात हो कि पीड़ित परिवार को उड़ीसा के दलाल, माफिया, ठेकेदार द्वारा इन मजदूरों को धोखा देकर ले जाया गया। तेलंगाना के ईंट भट्ठों में जिस तरह से जुल्म, शोषण होता है उसके बावजूद भी पापी पेट के लिए मजदूर वहां जाने विवश होते हैं। वे बिल्डिंग का काम करने एवं अन्य कार्यों में जाने को तैयार हो जाते हैं।लेकिन दलाल ठेकेदार ने इन मजदूरों को ईंट भट्ठा में ले जाने का नाम नहीं लेकर एक पोल्ट्री फार्म में ले जाने को कहा।लेकिन वहां जाने पर सीधे मजदूरों को एक ईंट भट्ठा में ले गया। ये मजदूर कभी भी ईंट भट्ठा का काम नहीं किए थे। इसलिए काम नहीं कर पा रहे थे। जब इन मजदूरों ने एजेंट से कहा कि पोल्ट्री फार्म में काम दिया जाय या हमें अपने घर वापस जाने दिया जाय लेकिन ईंट भट्ठा मालिक अपने पाले गुण्डों द्वारा कई बार मारपीट कर लोड-अनलोड एवं इससे संबंधित अन्य कार्य कड़ाई से करवाता रहा । ये मजदूर बहुत बुरी तरह से डरे हुए थे और उन्हें इस बात का डर सता रहा था की भट्ठा मालिक उनके साथ जानलेवा हमला न करा दें।

आपको बता दें की पीड़ित परिवार रायगढ़ के अकेले इस परिवार से हैं, जो बेहतरी धातु कास्त कारी का काम करते हैं और इसके लिए उन्हें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के हाथों सम्मान प्राप्त हो चुका है। लेकिन इसके बावजूद इनके परिवार गरीबी में पलायन करने को मजबूर हो जाते हैं।GSS/LSU छत्तीसगढ़ सरकार से इन बंधुआ मजदूरी से मुक्ति करने एवं दोषियों को सजा देने, विशेष टीम बनाकर अविलंब मुक्त कराए जाने की मांग की गई।फिर टीम भेजकर दलाल से इन मजदूरों को छुड़ाया गया।तत्पश्चात पीड़ित परिवार ने अपने हाथों से निर्मित धातु शिल्प की (आदिवासी नर्तक) खूबसूरत मूर्ति GSS/LSU को भेंट किया। उक्त आशय की जानकारी GSS प्रवक्ता एवं LSU महासचिव वीरेंद्र भारद्वाज ने दी।